बिहार के नियोजित टीचरों को सुप्रीम कोर्ट ने दी राहत

नई दिल्ली। समान काम के लिए समान वेतन के सिद्धांत को मानते हुए सुप्रीम कोर्ट ने बिहार के हजारों नियोजित टीचरों को राहत दी है। पटना हाई कोर्ट के आदेश पर सुप्रीम कोर्ट ने रोक लगाने से इनकार कर दिया। पटना हाई कोर्ट ने नियोजित टीचरों को नियमित सरकारी टीचरों के समान वेतन देने का आदेश दिया था। इस आदेश को बिहार सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी थी और आदेश पर रोक लगाने की मांग की थी। सुप्रीम कोर्ट ने पटना हाई कोर्ट के आदेश पर रोक लगाने से इनकार कर दिया।सुप्रीम कोर्ट के जस्टिस आदर्श कुमार गोयल और यू.यू. ललित की बेंच के सामने बिहार सरकार की ओर से विशेष अनुमति याचिका दायर कर कहा गया कि नियोजित टीचर पंचायती राज निकायों के कर्मी हैं और बिहार सरकार के कर्मचारी नहीं हैं ऐसे में इन्हें सरकारी टीचरों के बराबर सैलरी नहीं दी जा सकती। बिहार सरकार की ओर से यह भी दलील दी गई कि समान वेतन देने से राज्य सरकार पर 52 हजार करोड़ रुपये का अतिरिक्त भार आएगा। बिहार सरकार की ओर से दलील दी गई कि पटना हाई कोर्ट के आदेश पर रोक लगाई जाए।