विशेष संवाददाता
लखनऊ। राज्य के पुलिस महानिदेशक ने निर्देश दिए कि 20 लाख से ऊपर की लूट और एक धटना में दो या दो से अधिक लोगों की हत्या के मामलों की निगरानी सीधे आईजी जोन करेंगे। उन्होंने गैर सामाजिक व्यवहार के मामलों पर भी सख्ती करने के निर्देश देते हुए कहा कि अगर कहीं कोई लापरवाही पायी गई तो बड़े पुलिस अधिकारियों पर भी कार्यवाही होगी।
बैठक की जानकारी देते हुए राज्य के आईजी कानून व्यस्था ए.सतीश गणेश ने बताया कि राज्य के पुलिस महानिदेशक जगमोहन यादव ने निर्देश दिए कि पूर्व में प्रचिलित अर्दली रूम की व्यवस्था फिर से बहाल की जाए। आईजी जोन अपने अधीन जिले के अफसरों को रोस्टर तैयार कर उन्हें थानों में जांच के लिए भेजें। उन्हेांने निेर्देश दिए कि किसी लूट की घटना में 20लाख या उससे ऊपर की राशि शामिल हो तो इसका पर्यवेक्षण सीधे आईजी जोन करेंगें। इसी प्रकार यदि किसी घटना में दो या दो से अधिक लोगों की हत्या होती है तो ऐसे मामलों की निगरानी और पर्यवेक्षण भी आईजी जोन ही करेंगे। यह पर्यवेक्षण चार्जशीट दायर होने तक होगा।
उन्होंने बताया कि डीजीपी ने कहा कि इसी तरह कानून व्यवस्था को खराब करने वाली घटनाओं की समीक्षा भी आईजी जोन हर माह करेंगे और देखेंगे कि इन घटनाओ के बाबत मुकदमा दर्ज हुआ, गिरफतारियां हई या नहीं। डीजीपी ने सख्त लहजे में चेतावनी दी कि यदि कहीं कोई लापरवाही पाई गई तो बड़े पुलिस अधिकारियों की भी जिम्मेदारी तय होगी और उन पर भी कार्यवाही होगी। डीजीपी ने कहा कि शराब पी कर गाड़ी चलाने और सड़कों पर हुड़दंग करने जैसे गैर सामाजिक व्यवहार से कड़ाई से निपटा जाए। इसके लिए भी आईजी जोन को निर्देश दिए गए।