हाथियों को दी गयी बुफे टेबिल सजाकर दावत

मथुरा। यूपी के मथुरा में आज वन्यजीव संरक्षण के लिए कार्यरत गैरसरकारी संगठन द्वारा चुरमुरा गांव में मुक्त कराए गए 20 हाथियों के लिए ‘विशेष भोज’ आयोजित किया गया जिसमें सभी हाथियों ने मिलकर लुत्फ उठाया।
गैर सरकारी संगठन सूत्रों के अनुसार, दरअसल यह मौका था उनका ‘एलिफेण्ट एप्रिसिएशन डे’ मनाया जिसके लिए केंद्र के छोटे-बड़े सभी कर्मियों ने मिलकर हाथियों को सरप्राइज देते हुए उनके लिए ठीक उसी प्रकार टेबल सजाकर बुफे का इंतजाम किया, जिस प्रकार आम इंसान अपनी किसी दावत में करते हैं।
इसके लिए बाकायदा लाइन से टेबिल लगाई गई थीं और उन पर हाथियों के लिए ताजा-हरा चारा, तरबूज, खरबूज, केले, कद्दे आदि रसदार फल सजाए गए थे। उस समय इतने स्वादिष्ट व्यंजनों को देखकर उन्हें जल्दी से जल्दी लेने को लालायित हाथियों की बेताबी देखने लायक थी।
हाथी संरक्षण एवं देखभाल केंद्र की सह-संस्थापक गीता शेषमणि ने बताया, ‘पिछले एक दशक में ही 98 फीसद वनों में रहने वाले एशियन हाथियों की आबादी तस्करों के हाथों शिकार होकर, पर्यावास में कमी के चलते तथा छितराव के कारण समाप्त हो चुके हैं।’ उनके अनुसार, ‘हमारे लिए यह पुरसुकून बात है कि दुनिया में एशियन हाथियों की इस भव्य नस्ल के जीवित बचे 50 प्रतिशत हाथी भारत में ही हैं। लेकिन इनको बचाए रखना, इनकी देखभाल और इनका संरक्षण करना बेहद दुरूह कार्य है।’ उन्होंने बताया, ‘वाइल्डलाइफ-एसओएस द्वारा मथुरा के संरक्षण केंद्र में हाथियों के अवैध कब्जाधारकों तथा सर्कस में उनसे मनमाने तरीके से काम लेने वालों से मुक्त कराए गए 20 से अधिक हाथियों को रखा गया है। ये सभी बहुत बुरी एवं दयनीय अवस्था में यहां लाए गए थे। मगर अब इनके स्वास्थ्य में धीरे-धीरे सुधार आ चुका है।’