बिहार चुनाव में उत्तराधिकारियों की नूरा कुश्ती

अमृतांशु मिश्र। बिहार विधानसभा चुनाव में इस बार कई दिग्गज मैंदान से नदारद वहंीं कई दिग्गजों के उत्तराधिकारी चुनाव में इंट्री मारने के साथ अपनी राजनीतिक पारी की शुरूआत करने जा रहे है। राजनेता पुत्रों के रूप मे ंअभी लालू यादव के पुत्र तेजप्रताप और राघोपुर से चुनाव लड़ रह रहे तेजस्वी यादव जहां दूसरी बार चुनाव मैंदान में अपने दल के बाकी उम्मीदवारों के साथ जोरआजमाइश में लगे है तो दूसरी ओर कभी भाजपा के कद्दावर नेता और केन्द्र मेंं मंत्री रहे फिल्म अभिनेता शत्रुघ्न सिन्हा के पुत्र लव सिन्हा इस चुनाव के साथ अपनी राजनीतिक पारी शुरू करने जा रहे है। वे बिहार की बांकीपुर विधानसभा सीट से कांग्रेस के उम्मीदवार है।चालीस वर्षीय लव सिन्हा ने मैट्रिक और इंटर के बाद आगे की पढ़ाई विदेश से की है। उन्होंने स्कूल ऑफ कम्युनिकेशन वेबस्टर यूनिवर्सिटी मिसौरी से स्नातक किया है। पिछले लोकसभा चुनाव में शत्रुघ्न सिन्हा बिहार की पटना साहिब से कांग्रेस के उम्मीदवार थे जबकि उनकी पत्नी पूनम सिन्हा यूपी की लखनऊ सीट से समाजवादी पार्टी की उम्मीदवार थी दोनों को ही शिकस्त का सामना करना पड़ा था। इस बार उनके पुत्र लव सिन्हा चुनाव के साथ अपनी राजनीतिक पारी शुरू करने जा रहे है।इसी तरह कभी जनता के कद्दावर नेता और बाद में राष्टï्रीय जनतांत्रिक गठबंधन के संयोजक रहे और वर्तमान जनता दल(लोकतांत्रिक) के अध्यक्ष शरद यादव की पुत्री सुभाषिनी यादव ने हाल ही में कांग्रेस ज्वाइन की है। कांग्रेस उन्हे भी चुनाव मैंदान में उतारने जा रही है। कांग्रेस नेतृत्व ने उन्हे उनके पिता शरद यादव के संसदीय क्षेत्र रहे मधेपुरा की बिहारीगंज सीट से मैंदान में उतारने जा रही है। विधानसभा की यह सीट यादव बाहुल्य सीट मानी जाती है। स्थानीय सांसद होने के कारण क्षेत्र में शरद यादव के प्रभाव का लाभ उनकी पुत्री सुभाषिनी को मिल सकता है इस संभाावना से राजनीतिक प्रेक्षकों को इंकार नहीं है। कांग्रेस ज्वाइन करने के साथ ही सुभाषिनी अपनी राजनीतिक पारी की शुरूआत कर रही है। बिहार में लालू यादव की पुत्री मीसा यादव पहले से ही राजनीति में सक्रिय है और वर्तमान में वे राज्यसभा की सदस्य है। शरद यादव के कांंग्रेस ज्वाइन करने और उनके चुनाव लडऩे की संभावना से बिहार के राजनीतिक हल्कों सरगर्मिया तेज है। माना जा रहा है कि जद नेता शरद यादव की साफ सुथरी छवि उनकी नई पारी में निर्णायक साबित होगी। श्री यादव इस समय अस्वस्थ्य है। जिसके चलते उनकी पुत्री ने उनकी राजनीतिक विरासत संभालने के साथ ही अपनी राजनीतिक पारी की शुरूआत कर दी है। केन्द्र में मंत्री रहे दिग्विजय सिंह (दिवंगत) और पूर्व सांसद पुतुल सिंह जो कि दिग्विजय सिंह की पत्नी है की पुत्री श्रेयसी सिंह भी चुनाव मैंदान में है। बांका से सांसद और केन्द्र में मंत्री रहे दिग्विजय सिंह की पुत्री अर्जुन पुरूस्कार विजेता श्रेयसी सिंह जमुई विधानसभा क्षेत्र से भारतीय जनता पार्टी की उम्मीदवार है। वे इस चुनाव के साथ ही अपनी राजनीतिक पारी की शुरूआत करने जा रही है। बिहार की राजनीति में शरद यादव की ही तरह दिग््िवजय सिंह को साफ सुथरी छवि का नेता माना जाता है। उनके निधन के बाद उनकी पत्नी श्रीमती पुतुल सिंह ने उपचुनाव में अपनी जीत दर्ज कराई थी। बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री तथा हम पार्टी के अध्यक्ष जीतन राममांझी के दामाद इंजीनियर देवेंद्र कुमार मांझी चुनाव लड़ रहे हैं। श्री मांझी की टक्कर राजद प्रत्याशी सतीश दास से होगी। वर्ष 2015 के चुनाव में राजद प्रत्याशी सूबेदार दास ने हम उम्मीदवार जीतन राम मांझी को 26777 मतों के अंतर से मात दी थी।