बोली राधे मां: भक्त देते हैं छोटे कपड़े, वो खुश तो मैं भी खुश

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मुम्बई। कई विवादों में घिरी सुखविंदर कौर उर्फ राधे मां ने कहा कि वह छोटे कपड़े भक्तों के कहने पर पहनती हैं और उन्होंने यह कपड़े उनको भेेंट करते हैं। एक अंग्रेजी समाचार पत्र को दिए साक्षात्कार में राधे मां ने सभी विवादों पर सफाई देते हुए बताया, मैं परिवारों के एक समूह के साथ ट्रिप पर गई थी। ये परिवार मेरे भक्त हैं और वे मेरे बहुत करीब हैं। उन्होंने ही मुझे वे कपड़े दिए थे। वे चाहते थे कि मैं वे कपड़े पहनूं। उन कपड़ों को पहनने में कुछ भी गलत नहीं है। वे अश्लील नहीं है। आपसे किसने कहा कि साधु और साध्वी को सिर्फ एक ही तरह के कपडऩे पहनने होते हैं? मैं सिर्फ भक्तों की सुनती हूं। अगर भक्त खुश हैं तो मैं भी खुश हूं। जब राधे मां से पूछा गया कि तस्वीरें लीक कैसे हुई तो उन्होंने कहा,मुझे नहीं पता। हो सकता है कुछ लोग मेरी छवि खराब करना चाहते हों। उन्होंने जानबूझकर मीडिया में तस्वीरें फैलाई। वे मेरी निजी तस्वीरें हैं। मीडियो को इनको प्रकाशित करने का अधिकार नहीं है। उन्होंने गलत किया है। मैं उनके व्यवहार से बहुत दुखी हूं। राधे मां ने बताया, मेरे भक्त मेरा मेकअप करते हैं।
दहेज प्रताडऩा के आरोप पर राधे मां ने कहा,मुझ पर लगाए गए आरोप निराधार हैं। मैं आरोप लगाने वाली महिला को नहीं जानती। मुझे यह भी नहीं पता कि पूरा मामला क्या है? मुझे यह भी नहीं पता कि यह शुरू कैसे हुआ? मेरी इसमें कोई भूमिका नहीं है। जब राधे मां से पूछा गया कि क्या आप अग्रिम जमानत लेंगी तो उन्होंने कहा,आप मेरे वकील से बात करें। इस बीच राधे मां के करीबी संजीव गुप्ता ने कहा कि राधे मां को जमानत के लिए आवेदन देने की जरूरत नहीं है। अभी तक हम वकील गिरीश केडिया और एचएस पोंडा से संपर्क कर रहे हैं। जब राधे मां से पूछा गया कि कौन कौन सी सेलिब्रिटी आपकी भक्त हैं तो उन्होंने कहा,मैं खुद सेलिब्रिटी हूं। नहीं तो मैं अपने सभी भक्तों के साथ वैसा ही व्यवहार करती जैसा अपने अनुयायियों के साथ करती हूं। मेरे लिए न कोई छोटा है और न कोई दूसरों से बड़ा है। मेरे सभी अनुयायी बराबर हैं। राधे मां ने बताया कि 25 साल पहले उनका भक्ति की ओर रूझान हुआ था। बकौल राधे मां,मैं उस वक्त ईश्वर की भक्त थी। अभी भी मैं ईश्वर की भक्त हूं। जब राधे मां से पूछा गया कि भक्त आपको गोद में क्यों उठाते हैं तो उन्होंने कहा,आपको किसने बताया कि मुझे भक्त गोद में उठाते हैं। एक बार जब मैं थक गई थी तो मेरे बेटे ने मुझे गोद में उठाया था। मैं प्रवचन करने के बाद थक जाती है।