युवा पंचायत:रोजगार को चुनावी मुद्दा बनाने की मुहिम की बनी रूपरेखा

लखनऊ। उत्तर प्रदेश विधानसभा चुनावों में रोजगार के सवाल को मुद्दा बनाने के युवा मंच की जारी मुहिम को सफल बनाने के लिए आज आयोजित डिजिटल युवा पंचायत में प्रस्ताव लेकर विपक्षी दलों से रोजगार सृजन के लिए मुकम्मल नीति व कार्यक्रम पेश करने की मांग की गई। प्रस्ताव में कहा गया कि युवाओं ने चुनावों के ऐलान के पहले ही भाजपा हराओ अभियान का आगाज कर दिया था लेकिन अभी तक विपक्षी दलों खासतौर पर अखिलेश यादव के वादों से युवा आश्वस्त नहीं हो पा रहे हैं, युवा चाहते हैं कि विपक्षी दल मैनीफेस्टो व वक्तव्यों में ठोस रूप से यह बतायें कि रोजगार सृजन व सरकारी नौकरी के 10 लाख से ज्यादा बैकलॉग को भरने के लिए संसाधनों का इंतजाम कैसे करेंगे। इसके लिए क्या नीति व कार्यक्रम होंगे। दरअसल जिस कदर वैश्विक व कारपोरेट पूंजी के शिकंजे में हमारी अर्थव्यवस्था है और यह कोरोना काल में भी देखा गया कि किस तरह इसी लूट व मुनाफाखोरी से गरीब जनता और गरीब होती गई और अरबपतियों के पास संपत्ति तेज रफ्तार से बढ़ी। उससे यह स्पष्ट है कि कारपोरेट पूंजी के बलबूते रोजगार का सवाल हल नहीं किया जा सकता है। जब तक इन तमाम सवालों पर स्पष्टता न हो तो रोजगार के लिए तमाम वादे एक बार फिर महज चुनावीं घोषणाएं ही साबित होंगी। युवा पंचायत में एनटीपीसी व रेलवे ग्रुप डी के छात्रों के देशव्यापी आंदोलन के समर्थन में प्रस्ताव पारित कर समर्थन किया गया और पीएम मोदी को पत्र ट्वीट कर हस्तक्षेप की अपील की गई। रेलवे ग्रुप डी में सीबीटी-2 आयोजित करने समेत नियमों में बदलाव को तत्काल वापस लेने, एनटीपीसी के छात्रों को सीबीटी-1 में नोटिफिकेशन के अनुरूप 20 गुना अभ्यर्थियों को क्वालीफाई कराने, नार्मलाईजेशन में मनमाने ढंग से माक्र्स देकर धांधली के आरोपों की जांच कराने और देश भर में शांतिपूर्ण ढंग से आंदोलन कर रहे छात्रों पर दमन बंद करने की मांग पीएम मोदी से की गई। एनटीपीसी व रेलवे ग्रुप डी के छात्रों में भारी नाराजगी है यही वजह कि प्रयागराज, पटना, पुणे समेत देश भर में छात्र ट्रैक पर उतर आए। कहा कि देशव्यापी ट्विटर अभियान में ही छात्रों ने चेतावनी दी थी कि अगर उनकी मांगें पूरी नहीं की गई तो सडक़ों पर उतरेंगे लेकिन मोदी सरकार ने इसे गंभीरता से नहीं लिया। कहा कि आज प्रयाग स्टेशन पर छात्रों का प्रदर्शन स्वत: स्फूर्ति था, इसी तरह देश भर छात्रों के प्रदर्शन शुरू हुए हैं। दरअसल जिस तरह चयन प्रक्रिया में बदलाव कर जटिल बनाया जा रहा है उससे न सिर्फ 5 साल या इससे अधिक वक्त में भर्तियां पूरी होंगी बल्कि विज्ञापित पदों के खाली रह जाने की आशंका है। आक्रोश की प्रमुख वजह यही है। युवा पंचायत में युवा मंच संयोजक राजेश सचान, अध्यक्ष अनिल सिंह, गोरखपुर से वागीश धर राय, प्रयागराज से ईशान, आगरा से हरिओम चौहान व प्रशांत सागर, प्रतापगढ़ से सचिन गौतम व सुरेंद्र प्रताप, वाराणसी से दिव्यांशु राय, जौनपुर से अमित कुमार सिंह, शामली से कुलदीप कुमार के अलावा यूथ फार स्वराज के अमित कुमार ने संबोधित किया। इस में अभिषेक मिश्रा, रवि प्रकाश, संदीप निराला, सुधीर पांडेय, शोभित, रंजीत, अंकित गंगवार, अमित यादव, शैलेष मौर्य, रंजीत कुमार गुप्ता, रावेंद्र कुमार, राम नरेश , आशुतोष पटेल, सतीश, अजरूद्दीन समेत तमाम जनपदों के प्रतिनिधियों ने हिस्सा लिया।