नये अधिकारियों का समय-समय पर होता रहे प्रशिक्षण: मुख्य सचिव

लखनऊ। उत्तर प्रदेश के मुख्य सचिव आलोक रंजन ने निर्देश दिये हैं कि आईएएस एवं पीसीएस अधिकारियों की भांति अन्य अधिकारियों को भी प्रशिक्षण समय से दिलाने हेतु राज्य प्रशिक्षण नीति यथाशीघ्र बनाकर सक्षम स्तर से अनुमोदन प्राप्त किया जाये। उन्होंने कहा कि विभागों में नवनियुक्त तैनात अधिकारियों को प्रशिक्षण समय से दिलाया जाना अतिआवश्यक है। उन्होंने कहा कि समय-समय पर तैनात अधिकारियों को नवीनतम तकनीकी से अद्यतन होने के लिये तैनाती के समय भी निर्धारित अवधि के अन्तराल में प्रशिक्षण दिलाये जाने पर विचार किया जाये, ताकि उनकी कार्यक्षमता में और अधिक वृद्धि हो सके।
मुख्य सचिव ने उप्र प्रशासन एवं प्रबन्धन अकादमी बोर्ड की बैठक की अध्यक्षता करते हुए कहा कि अकादमी में तैनात कर्मियों की पदोन्नति रिक्त पदों के सापेक्ष सेवा नियमावली के अभाव में नियमानुसार पदोन्नति प्रदान करने हेतु कार्यकारी आदेश सम्बन्धित विभागों से परीक्षण कराकर निर्गत कराया जाये, साथ ही सेवा नियमावली भी प्राथमिकता पर तैयार कराई जाये। उन्होंने कहा कि किसी भी योग्य एवं पात्र कर्मचारी का निर्धारित अवधि में पद रिक्त होने के बावजूद पदोन्नति न किया जाना उचित नहीं है।
श्री रंजन ने यह भी निर्देश दिये कि सीजी सिटी में डॉ. राम मनोहर लोहिया राज्य प्रशासन एवं प्रबन्धन अकादमी भवन का निर्माण कार्य यथाशीघ्र प्रारम्भ कराकर निर्धारित मानक एवं गुणवत्ता के साथ निर्धारित अवधि में निर्माण कार्य पूर्ण कराया जाये। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार द्वारा उप्र प्रशासन एवं प्रबन्धन अकादमी में मौलिक से नियुक्त अधिकारियों एवं कर्मचारियों की अधिवर्षता आयु 58 वर्ष से बढ़ाकर 60 वर्ष करने के आदेश निर्गत कराये जा चुके हैं।