इंडोनेशिया से आया रामलीला का दल: योगी से मिला

 

 

लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से आज यहां उनके सरकारी आवास पर इण्डोनेशिया से आए हुए रामलीला दल के कलाकारों से भेंट की। योगी ने दल के कलाकारों को अंग वस्त्र और राम दरबार के साथ-साथ उडि़सा की पट्ट शैली के चित्र और ‘काशी की रामलीला’ पुस्तक भी भेंट की। इस अवसर पर प्रमुख सचिव सूचना, पर्यटन एवं धर्मार्थ कार्य
श्री अवनीश कुमार अवस्थी, सचिव संस्कृति श्रीमती अनीता सी0 मेश्राम, निदेशक अयोध्या शोध संस्थान डॉ0 योगेन्द्र प्रताप सिंह भी मौजूद रहे।
योगी ने इस अवसर कहा कि पांच प्रतिशत हिन्दू आबादी और 86 प्रतिशत मुस्लिम आबादी का देश इण्डोनेशिया धर्म के रूप में इस्लामिक है, परन्तु उसकी संस्कृति रामायण पर आधारित है, क्योंकि इण्डोनेशिया के सभी लोग अपना पूर्वज भगवान श्री राम को ही मानते है। उन्होंने कहा कि हम देख रहे है कि आज इण्डोनेशिया सभी क्षेत्रों में नई ऊचाईयां प्राप्त कर रहा है। धार्मिक असहिष्णुता से ऊपर उठकर विश्व को इस माडल को अपनाना होगा, जिससे सारी दुनिया में शन्ति स्थापित हो सकती है। भगवान राम सारी दुनिया में पूजनीय है। यह संदेश हमें इण्डोनेशिया, मलेशिया जैसे मुस्लिम तथा थाईलैण्ड, कम्बोडिया जैसे बौद्ध धर्म बाहुल्य देशों से स्पष्ट रूप से प्राप्त होता है।ज्ञातव्य है कि भारतीय संास्कृतिक सम्बन्ध परिषद, भारत सरकार द्वारा विगत तीन वर्षों से अन्तर्राष्ट्रीय रामलीला का मंचन दिल्ली में कराए जाने के बाद इन दलों को अन्य प्रदेशों में भी भेजा जाता है। वर्ष 2015 में फीजी और कम्बोडिया के रामलीला दलों को लखनऊ और अयोध्या भेजा गया था। वर्ष 2016 में थाईलैण्ड के रामलीला दल ने लखनऊ और अयोध्या में अपनी कला का प्रदर्शन किया था। इस वर्ष इण्डोनेशिया का पांच सदस्यीय दल 13 से 15 सितम्बर, 2017 तक रामलीला मंचन के लिए लखनऊ और अयोध्या आया था। जकार्ता बाली से आए हुए दल के मुखिया अगुंग राई के साथ केतुक सुपर्णा, अपितु अस्थाना, वयम अनरवा, हिर अशुभ तथा मो0 इक्संग के साथ इण्डोनेशियाई दूतावास के सोशल कल्चरल डिविजन के अधिकारी भी उपस्थित थे।