मिर्जापुर से अमृतांशु मिश्र। आदि शक्ति मां विंध्यवासिनी मंदिर की सीढिय़ों पर पैर रखते ही जाति तिरोहित हो जाती है। सभी द्विज हो जाते है। इस बार दस दिन का नवरात्रि बेहद शुभ है। मां के दर्शन के लिए मंदिर के बाहर मीलों लंबी कतार लग गई है। जिसमें बेहद अनुशासित अमीर-गरीब, आदिवासी, वनवासी, देशी-विदेशी सभी एक साथ खड़े है। हाथों में मां के श्रृंगार का सामान और चढ़ावा, माथे पर पटका और मां विंध्यवासिनी का जयकारा, बेहद भक्तिमय माहौल है। हर दिन 3 से 5 लाख लोग दर्शनपूजन कर…
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चंडिका देवी मंदिर: जहां चंड राक्षस का देवी ने किया संहार
फीचर डेस्क। ये हैं महोबा वासियों की आराध्य देवी बड़ी चंडिका। शायद ही ऐसा कोई हिन्दू हो जो नवरात्रि में इनके दरबार में जाकर अपना शीश न नवाता हो पर ये बहुत कम लोग जानते हैं कि गोरखगिरी की एक विशाल चट्टान पर उकरी 18 भुजाओं वाली बड़ी चंडिका देवी की इस 12 फुट ऊंची मूर्ति की पहचान सबसे पहले गहरवार नरेशों के समय 7वीं शताब्दी में हुई थी। ये तो पता नहीं चल सका कि सबसे पहले किसने देवी के इस अदभुत रूप को देखा जिसमें वे अपने पैरों…
Read Moreजाना है शिरडी तो नो टेंशन: अब मिलेंगी फ्लाइट
नई दिल्ली। साईं भक्त अब शिरडी फ्लाइट से आवाजाही कर सकेंगे। अब तक फ्लाइट से आने जाने के लिए श्रद्धालुओं को औरंगाबाद या फिर मुंबई उतरना पड़ता है और वहां से वे सडक़ के रास्ते तीन से पांच घंटे का सफर तय कर शिरडी पहुंच पाते हैं। गुरुवार को एविएशन रेगुलेटर डीजीसीए के शिरडी एयरपोर्ट को लाइसेंस जारी करने के बाद अब उम्मीद की जा रही है कि जल्द ही मुंबई और दिल्ली से शिरडी के लिए फ्लाइटस शुरू होंगी। डीजीसीए के सूत्रों के मुताबिक फिलहाल शिरडी एयरपोर्ट को…
Read Moreदेश का ऐसा मंदिर जो है कैशलेस
भरूच। आईये हम आपको बताते हैं देश में एक ऐसा मंदिर है जहां कोई नकद भेंट नहीं चढ़ाई जाती और यह पूरी तरह से कैशलेस है। यह अनूठा मंदिर है भरूच शहर स्थित गुजरात नर्मदा वैली फर्टिलाइजर एंड केमिकल्स लिमिटेट की टाउनशिप में। मंदिर का नाम है जन विकास मंदिर और इसका प्रबंधन कम्युनिटी डेवलपमेंट चैरिटी टस्ट करता है। जीएनएफसी के अतिरिक्त महाप्रबंधक आर सी जोशी ने बताया कि करीब एक वर्ष पहले यह मंदिर कैशलेस हुआ। यह काम प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के कैशलेस लेनदेन को बढ़ावा देने के…
Read Moreवेश्यावृत्ति: कोठों से निकल वेबसाइटों तक पहुंची
फीचर डेस्क। वेश्यावृत्ति का भी पूरी दुनिया में चरम उभार हो चुका है। पोस्ट मॉडर्न सोसाइटी में वेश्यावृत्ति के अलग-अलग रूप भी सामने आए हैं। रेड लाइट इलाकों से निकल कर वेश्यावृत्ति अब मसाज पार्लरों एवं एस्कार्ट सर्विस के रूप में भी फल-फूल रही है। देह का धंधा कमाई का चोखा जरिया बन चुका है। गरीब और विकासशील देशों जैसे भारत, थाइलैंड, श्रीलंका, बांग्लादेश आदि में सेक्स पर्यटन का चलन शुरू हो चुका है। पुराने वक्त के कोठों से निकल कर देह व्यापार का धंधा अब वेबसाइटों तक पहुंच…
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