मोदी के अभियान को झटका: भ्रष्टाचार की भेंट चढ़ा निर्मल भारत अभियान

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सुलतानपुर। सरकार की लाख कोशिशों के बाद भी निर्मल भारत अभियान परवान तो नही चढ़ सका लेकिन भ्रष्टाचार की भेंट जरूर चढ़ गया। सरकारी धन का जमकर बंदरबाट हुआ। कागजों पर सब कुछ चकाचक दिखा हकीकत को छिपाने की पुरजोर कोशिश की जा रही है। मामला विकास खंड भदैंया के महेसुआ गांव से जुड़ा है। ग्रामीणों का आरोप है कि विभागीय अधिकारियों और कर्मचारियों की साठगांठ के चलते सरकारी धन का जमकर बंदरबाट किया गया। ग्रामीणों ने प्रकरण की जांच की मांग जिलाधिकारी से की है।  बताना मुनासिब होगा कि भदैंया ब्लॉक की ग्रामसभा महेसुआ का चयन निर्मल भारत अभियान में हुआ है। जिसके तहत ग्रामीणों को स्वच्छ शौचालय बनवाया जाना था। ग्रामीणों का कहना है कि ग्राम प्रधान शान्ती देवी द्वारा शौचालय निर्माण में भारी अनियमितता बरती गई है। न तो मानक के अनुरूप शौचालय का निर्माण कराया गया है और न ही जिन लाभार्थियों ने अपने पास से पैसा लगाकर शौचालय का निर्माण करवाया है उन्हे पूरी रकम ही दी गई है। जिन ग्रामीणों ने स्वयं अपने पास से पैसा लगाकर शौचालय बनवाया है वह तो ठीक हैं और जिन शौचालयों का निर्माण प्रधान द्वारा करवाया गया है वह बेहद दयनीय दशा में हैं। कितने शौचालयों में अभी तक छत आदि नही पड़ सकी है। पीली ईंट और बालू से बने शौचालय अपनी बदहाली खुद बयां कर रहे हैं। ग्रामीणों का आरोप है कि शौचालय निर्माण में भारी अनियमितता बरती गई है। यही नही विभागीय अधिकारियों और कर्मचारियों की मिलीभगत से सरकारी धन का जमकर बंदरबाट भी हुआ है। लोगों का कहना है कि ग्राम प्रधान द्वारा लोगों को अभी तक पूरी रकम अदा नही की गई है। विभागीय अधिकारी सब कुछ जानकर भी अंजान बने हुए हैं। ग्रामीणों ने शौचालय निर्माण की धनराशि की मांग करते हुए जिलाधिकारी से पूरे प्रकरण की जांच कराए जाने की मांग की है।
क्या कहते हैं सेक्रेटरी
ग्राम पंचायत अधिकारी अरुण सिंह ने भी प्रधान की अनियमितता की बात कही। उन्होंने कहा कि ग्राम प्रधान शांती देवी के पति जुग्गीलाल ही सारा कामकाज देखते हैं। उन्होंने बताया कि लोगों को पूरा पैसा मेरी तरफ से अदा कर दिया गया है। लोगों का पैसा प्रधान पति डकार गए हैं। उन्होंने प्रधान पति पर दबाव बनाकर पैसा लेने की बात कही।