ठोंको ताली: सिद्धू ने नये मोर्चे का किया एलान

navjot singh siddhuचंडीगढ़। भाजपा के पूर्व सांसद और पूर्व क्रिकेटर नवजोत सिंह सिद्धू ने वीरवार को अपने नए मोर्चे का एलान कर दिया। मोर्चे का नाम आवाज-ए-पंजाब होगा। इस मौके में सिद्धू ने कहा कि यह पंजाबियत की राजनीति की शुरुआत है। हम इस राजनीति को लेकर आए हैं। मैंने 12 साल साफ-सुथरी राजनीति की है, आगे ऐसी ही राजनीति कर धंधा तंत्र को ध्वस्त करूंगा।
यहां प्रेस क्लब में सिद्धू ने कांग्रेस और अकाली दल पर जमकर निशाना साधा। इस दौरान उनके साथ भारतीय हॉकी टीम के पूर्व कप्तान व विधायक परगट सिंह और लुधियाना जिले से विधायक बैंस बंधु सिमरजीत सिंह बैंस व बलविंदर सिंह बैंस भी मौजूद थे।
उन्होंने कहा कि आज लोगों की नजर में पंजाब की सरकार एक परिवार की सरकार बनकर रह गई है। अब लोगों ने ठान लिया है कि वह पंजाबियत को जिताएंगे। अब की बार ‘हर बेचारा और पंजाबियत जीतेगा। सिद्धू ने कहा कि पंजाब हरित क्रांति लाया, लेकिन अब यहां नशे की क्रांति ने तबाही मचा कर रख दी है। इसके लिए उन्होंने राज्य सरकार की नीतियों को दोषी ठहराया।
उन्होंने कहा कि वह 12 साल से राजनीति में हैं। उन्होंने हमेशा साफ- सुथरी राजनीति की है। कोई उन पर भ्रष्टाचार का आरोप नहीं लगा सकता है। उन्होंने कहा कि एक अच्छा बंदा 100 बुरे लोगों से बेहतर है। वह चाहते हैं हर अच्छा बंदा आगे आए और उनसे जुड़े। यह मोर्चा पंजाब और पंजाबियत का बेहतर चाहने वालों का है।
उन्होंने कहा कि आज पंजाब पर दो लाख करोड़ का कर्ज है। गेस्ट हाउस गिरवी रखे जा रहे हैं। नेताओं की नीयत और नीति ठीक नहीं है। उन्होंने कहा कि पार्टी अच्छी या बुरी नहीं होती। लोग अच्छे या बुरे होते हैं। सिद्धू ने कहा कि पंजाब के लोगों ने कैप्टन अमरिंदर का पांच साल का राज भी देखा और पिछले 10 साल में धंधे का तंत्र भी देख लिया। अब वे पंजाबियत की राजनीति देखेंगे।
सिद्धू ने कहा कि यह भारतीय राजनीति की परंपरा है कि अच्छे लोगों को शोपीस की तरह रखा जाता है। ऐसे लोगों को सिर्फ चुनाव प्रचार तक ही सीमित रखा जाता है। मुझे भी रैलियों में इस्तेमाल किया गया। आवाज-ए-पंजाब लोगों की तमन्ना है। आज पंजाब को एक जिम्मेदार नेतृत्व की जरूरत है।
उन्होंने कहा कि मैैं जब हामिद अंसारी साहब के पास राज्यसभा की सदस्यता से अपना त्याग पत्र लेकर गया तो वह मुझे देखने लगे। वह बोले मैैंने आज तक ऐसा नहीं देखा। सिद्धू ने कहा कि पंजाब के लोग कहते हैैं काले बादल छंटकर अब सूरज निकलना चाहिए।