हाईकोर्ट ने उप्र उच्च शिक्षा सेवा आयोग के अध्यक्ष को हटाया

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लखनऊ। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने यूपी सरकार की ओर से नियुक्त किये गए उच्चतर शिक्षा सेवा आयोग के अध्यक्ष लाल बिहारी पांडेय को हटाने के निर्देश दिया है। कोर्ट ने कहा है की नियुक्ति में प्रक्रिया का पालन नही किया गया।
हाईकोर्ट ने उच्चतर शिक्षा सेवा चयन आयोग के अध्यक्ष के रूप में लाल बिहारी पांडेय की नियुक्ति को अवैध घोषित किया है। कोर्ट ने पांडेय के पद के लिए जरूरी योग्यता के न होने के साथ ही नियुक्ति में निर्धारित प्रक्रिया का पालन न करने के आधार पर नियुक्ति को रद कर दिया। यह निर्देश मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति डीवाइ चंद्रचूड़ व न्यायमूर्ति यशवंत वर्मा की खंडपीठ ने दिया। इनके चयन को लेकर याचिका दाखिल हुई थी। इसमें कहा गया था कि लाल बिहारी पाण्डेय सचिव पद पर तैनात नही थे जबकि अध्यक्ष का पद सचिव के स्तर का है। लाल बिहारी पाण्डेय रिटायर्ड डीएम थे। याचिका में इसका आधार लिया गया था की यूपी उच्च शिक्षा बोर्ड की नियमावली के धारा में अध्यक्ष पद के लिए सचिव स्तर की अहर्ता दी गयी है, जिस पर कोर्ट ने दाखिल याचिका को सही मानते हुए इन्हे इस पद के लिए अयोग्य मानते हुए उच्च शिक्षा सेवा चयन आयोग के अध्यक्ष पद से हटाने का आदेश जारी किया है। इसके पहले इलाहाबाद हाईकोर्ट ने उच्चतर शिक्षा सेवा आयोग के तीन सदस्यों रामवीर सिंह यादव, रूदल यादव और अनिल सिंह की नियुक्ति को रद कर दिया था। यह फैसला मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति डीवाई चंद्रचूड और न्यायमूर्ति यशवंत वर्मा की पीठ ने किया था। कोर्ट ने पाया है कि तीनों सदस्य चयन के योग्य नहीं थे।